विक्रान इंजीनियरिंग लिमिटेड का इनिशियल पब्लिक ऑफरिंग (IPO) कल यानी 26 अगस्त 2025 को खुलने जा रहा है और यह 29 अगस्त 2025 तक निवेशकों के लिए उपलब्ध रहेगा। कंपनी ने इस IPO का प्राइस बैंड ₹92 से ₹97 प्रति शेयर तय किया है और इसके ज़रिए लगभग ₹772 करोड़ जुटाने का लक्ष्य रखा गया है।
ग्रे मार्केट से मिल रहे शुरुआती संकेत निवेशकों का उत्साह बढ़ा रहे हैं। जानकारों के मुताबिक, विक्रान इंजीनियरिंग IPO का GMP (ग्रे मार्केट प्रीमियम) ₹18 से ₹22 प्रति शेयर के बीच चल रहा है। अगर यही ट्रेंड जारी रहा तो लिस्टिंग के समय शेयर को 18% से 22% तक का लाभ मिल सकता है।
इश्यू स्ट्रक्चर की बात करें तो इस IPO में ₹721 करोड़ का फ्रेश इश्यू शामिल है और इसके अलावा लगभग 52.57 लाख इक्विटी शेयरों का ऑफर फॉर सेल (OFS) भी होगा। शेयर का फेस वैल्यू ₹1 है और इसकी लिस्टिंग BSE और NSE दोनों पर होगी। आवंटन में 35% हिस्सा रिटेल निवेशकों, 50% हिस्सा QIB (क्वालिफाइड इंस्टीट्यूशनल बायर्स) और 15% हिस्सा NII (नॉन-इंस्टीट्यूशनल इन्वेस्टर्स) के लिए निर्धारित है।

विक्रान इंजीनियरिंग इंफ्रास्ट्रक्चर और इंजीनियरिंग सर्विसेज सेक्टर में काम करती है। देश में बड़े पैमाने पर इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स की मांग को देखते हुए कंपनी को आने वाले वर्षों में मजबूत ग्रोथ का लाभ मिल सकता है। GMP के पॉजिटिव संकेत और मजबूत सब्सक्रिप्शन की उम्मीद से यह IPO निवेशकों के बीच चर्चा का विषय बना हुआ है।
विशेषज्ञ मानते हैं कि हालांकि GMP से शुरुआती संकेत मिलते हैं, लेकिन निवेशकों को कंपनी की वित्तीय स्थिति, ऑर्डर बुक और लंबी अवधि की संभावनाओं का भी मूल्यांकन करना चाहिए।
डिस्क्लेमर: ग्रे मार्केट प्रीमियम (GMP) अनऑफिशियल है और SEBI द्वारा रेगुलेटेड नहीं है। यह केवल निवेशकों की भावना को दर्शाता है और इसमें तेजी से उतार-चढ़ाव हो सकता है। यह लेख केवल जानकारी के उद्देश्य से है। निवेश का कोई भी निर्णय लेने से पहले निवेशक अपनी रिसर्च करें या वित्तीय सलाहकार से परामर्श लें।
